कणों के निकाय तथा घूर्णी गति नोट्स
दृढ़ पिंड
जब किसी पिंड पर बाह्य बल लगाने से यदि पिंड के कणों में कोई विस्थापन नहीं होता है तो ऐसे पिंड को दृढ़ पिंड कहते हैं। दृढ़ पिंड ठोस पदार्थ ही होते हैं।
जैसे पत्थर आदि।
घूर्णन गति
जब कोई दृढ़ पिंड किसी अक्ष के परितः घूमता है तू पिंड की गति को घूर्णन गति कहते हैं एवं इसके अक्ष को घूर्णन अक्ष कहते हैं।
घूर्णन गति में पिंड का प्रत्येक कण एक वृत्तीय गति करता है।
उदाहरण लट्टू की गति, पृथ्वी का चक्रण, छत के पंखे की गति आदि।
घूर्णन गति के समीकरण
घूर्णन गति के समीकरण भी गति के समीकरण की तरह है। बस यहां कुछ बदलाव होते हैं जैसे –
विस्थापन | s | θ |
प्रारंभिक वेग | u | ω |
अंतिम वेग | v | ω0 |
त्वरण | a | α |
1. घूर्णन गति का प्रथम समीकरण
\( { ω = ω_0 + αt } \)2. घूर्णन गति का द्वितीय समीकरण
\( { θ = ω_0t + \frac{1}{2} αt^2 } \)3. घूर्णन गति का तृतीय समीकरण
\( { ω^2 = ω_0^2 + 2αθ } \)
Mera samadhan abhi nahi hua h