रासायनिक संयोजन के नियम, गुणित, स्थिर अनुपात, आवोगाद्रो, गैलुसैक
रासायनिक संयोजन के नियम
रासायनिक संयोजन के 5 मूल नियम है।
1. द्रव्यमान संरक्षण का नियम
2. स्थिर अनुपात का नियम
3. गुणित अनुपात का नियम
4. गैलुसैक का नियम
5. आवोगाद्रो का नियम
1. द्रव्यमान संरक्षण का नियम
इस नियम का प्रतिपादन रूसी वैज्ञानिक एम.वी. लोमोनोसोव ने किया था। इस नियम के अनुसार, द्रव्य को न तो उत्पन्न किया जा सकता है और न ही नष्ट किया जा सकता है।
इस नियम को इस प्रकार भी परिभाषित किया जा सकता है। कि “ रसायनिक अभिक्रिया में पदार्थों के मूल द्रव्यमान में कोई परिवर्तन नहीं होता है। अर्थात् अभिकारको का द्रव्यमान तथा उत्पादों का द्रव्यमान बराबर होता है।”
2. स्थिर अनुपात का नियम
इस नियम का प्रतिपादन फ्रांसीसी वैज्ञानिक जोसेफ लुई प्राउस्ट ने किया था। इस नियम के अनुसार, रासायनिक यौगिकों में तत्वों का द्रव्यमान सदैव एक निश्चित अनुपात में होता है।
इस नियम से यह सिद्ध होता है कि प्रत्येक यौगिक में उपस्थित अवयवी तत्वों का अनुपात सदैव निश्चित होता है। यह यौगिक का रासायनिक संगठन, स्रोत अथवा बनाने की विधि पर निर्भर नहीं करता है।
उदाहरण – शुद्ध जल में हाइड्रोजन तथा ऑक्सीजन का अनुपात 1 : 8 होता है। यह जल बनाने की विधि या उसके स्रोत पर निर्भर नहीं करता है।
3. गुणित अनुपात का नियम
इस नियम का प्रतिपादन इंग्लिश वैज्ञानिक जॉन डाल्टन ने किया था। इस नियम के अनुसार, जब दो तत्व संयोजित होकर दो या दो से अधिक यौगिक बनाते हैं तब एक तत्व के भिन्न-भिन्न द्रव्यमान, जो दूसरे तत्व के निश्चित द्रव्यमान से संयोग करते हैं। परस्पर लघु पूर्णांकों के अनुपात में होते हैं।
उदाहरण – नाइट्रोजन के पांच ऑक्साइड का बनना गुणित अनुपात के नियम की पुष्टि करता है पांच ऑक्साइड निम्न प्रकार से हैं।
(i) नाइट्रस ऑक्साइड N2O
(ii) नाइट्रिक ऑक्साइड NO
(iii) नाइट्रोजन ट्राईऑक्साइड N2O3
(iv) नाइट्रोजन टेट्राऑक्साइड N2O4
(v) नाइट्रोजन पेंटाऑक्साइड N2O5
4. गैलुसैक का नियम
इस नियम का प्रतिपादन वैज्ञानिक जोसेफ लुई गैलुसैक ने किया था। इस नियम के अनुसार, जब गैसें रसायनिक अभिक्रिया में संयुक्त होती हैं तो उनके आयतन सरल अनुपात में होते हैं। (जबकि सभी गैस से सामान धरा और ताप पर हो।)
उदाहरण – दो आयतन हाइड्रोजन तथा एक आयतन ऑक्सीजन संयोग करके दो आयतन जलवाष्प बनाते हैं। इसमें हाइड्रोजन तथा ऑक्सीजन परस्पर सरल अनुपात 2 : 1 में होते हैं।
5. आवोगाद्रो का नियम
इस नियम का प्रतिपादन इटेलियन भौतिक विज्ञानी आवोगाद्रो ने किया था। इस नियम के अनुसार, समान ताप और दाब पर सभी गैसों के समान आयतनों में अणुओं की संख्या समान होती है।
सर्वप्रथम वैज्ञानिक आवोगाद्रो ने यह विचार प्रस्तुत किया कि पदार्थ अणुओं से से और अणु परमाणुओं से बने होते हैं। आवोगाद्रो नियम द्वारा गैलुसैक के नियम की ठीक व्याख्या की जा सकती है।
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