कोपेन का जलवायु वर्गीकरण (Köppen Climate Classification) एक प्रसिद्ध और व्यापक जलवायु वर्गीकरण प्रणाली है, जिसका उपयोग पूरी दुनिया में जलवायु के वर्गीकरण के लिए किया जाता है। इस प्रणाली के अनुसार, जलवायु को मुख्यतः तापमान, वर्षा और मौसम की विशेषताओं के आधार पर विभिन्न श्रेणियों में बांटा जाता है। भारत के संदर्भ में, कोपेन के जलवायु वर्गीकरण को ध्यान में रखते हुए, भारत में मुख्यतः पाँच जलवायु श्रेणियाँ पाई जाती हैं, जो भारतीय उपमहाद्वीप के विभिन्न भौगोलिक क्षेत्रों के अनुरूप हैं।
कोपेन के जलवायु वर्गीकरण के आधार पर भारतीय जलवायु श्रेणियाँ:
1. उष्णकटिबंधीय वर्षा जलवायु (Tropical Rainforest Climate – Af)
- स्थान: भारत के दक्षिणी हिस्सों, पश्चिमी घाट और पूर्वी घाट के उच्च क्षेत्रों, और उत्तर-पूर्वी राज्यों जैसे मेघालय, असम, मणिपुर, आदि।
- विशेषताएँ:
- यहाँ पूरे वर्ष भर उच्च तापमान और उच्च आर्द्रता होती है।
- वर्षा पूरे वर्ष भर होती है और इसकी वार्षिक मात्रा 2,000 मिमी से अधिक होती है।
- यहां की वनस्पति उष्णकटिबंधीय वर्षावन (tropical rainforest) होती है।
- उदाहरण: पश्चिमी घाट, मेघालय (चेरापूंजी), कर्नाटका और केरल के कुछ हिस्से।
2. उष्णकटिबंधीय मोनसूनी जलवायु (Tropical Monsoon Climate – Am)
- स्थान: भारत के कई हिस्सों में, जैसे पश्चिम बंगाल, उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश, और बिहार।
- विशेषताएँ:
- यहाँ गर्मियों में अत्यधिक तापमान होता है, और सर्दियों में हल्की ठंडक।
- वर्षा मुख्य रूप से मानसून के समय (जून से सितंबर) होती है।
- यहाँ की वनस्पति उष्णकटिबंधीय मोनसूनी जंगल (tropical monsoon forest) होती है।
- उदाहरण: पश्चिम बंगाल, बिहार, उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश।
3. उष्णकटिबंधीय शुष्क जलवायु (Tropical Dry Climate – BSh, BSk)
- स्थान: यह जलवायु भारत के मध्य और पश्चिमी हिस्सों, जैसे राजस्थान, गुजरात और महाराष्ट्र के कुछ हिस्सों में पाई जाती है।
- विशेषताएँ:
- वर्षा कम होती है (500-1,000 मिमी प्रति वर्ष)।
- गर्मियों में उच्च तापमान (40°C-45°C तक) और सर्दियों में ठंडी होती है।
- यहाँ की वनस्पति आर्द्र तटीय या रेगिस्तानी होती है, जिसमें छोटे पेड़ और झाड़ियाँ शामिल होती हैं।
- उदाहरण: राजस्थान, गुजरात, कच्छ, महाराष्ट्र के कुछ हिस्से।
4. उपोष्णकटिबंधीय जलवायु (Subtropical Climate – Cw)
- स्थान: भारत के कुछ उत्तरी और मध्य क्षेत्रों में, जैसे जम्मू और कश्मीर, हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड, और पंजाब।
- विशेषताएँ:
- यह जलवायु उष्णकटिबंधीय से उपोष्णकटिबंधीय क्षेत्र में परिवर्तन करती है, जहाँ गर्मी में गर्मी और सर्दियों में ठंडक होती है।
- वर्षा प्रमुखतः मानसून के दौरान होती है, लेकिन यहाँ की वर्षा अपेक्षाकृत कम होती है (500-1,500 मिमी प्रति वर्ष)।
- इस क्षेत्र में शीतल और ठंडी हवाएँ शीतकाल में चलती हैं।
- उदाहरण: हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड, पंजाब।
5. मध्यम तापमान जलवायु (Temperate Climate – Cf, Df)
- स्थान: यह जलवायु भारत के हिमालयी क्षेत्रों, जैसे कश्मीर घाटी, उत्तराखंड के कुछ हिस्सों और हिमाचल प्रदेश के उच्च इलाकों में पाई जाती है।
- विशेषताएँ:
- यहाँ गर्मियाँ गर्म होती हैं, लेकिन सर्दियों में ठंडक होती है और बर्फबारी भी होती है।
- वर्षा अधिक होती है (1,000-2,500 मिमी), और शीतकाल में बर्फबारी होती है।
- यहाँ की वनस्पति शंकुधारी पेड़ और शीतोष्ण वनस्पति होती है।
- उदाहरण: कश्मीर घाटी, मनाली, नैनीताल, शिमला, दार्जिलिंग।
6. हिमालयी जलवायु (Highland Climate – H)
- स्थान: यह जलवायु भारत के उच्च पर्वतीय क्षेत्रों में पाई जाती है, जैसे उत्तराखंड, हिमाचल प्रदेश, जम्मू और कश्मीर, और सिक्किम के उच्च इलाकों में।
- विशेषताएँ:
- यहाँ का तापमान बहुत ठंडा होता है, और सर्दियों में भारी हिमपात होता है।
- वर्षा मुख्यतः बर्फ के रूप में होती है और यह पूरे वर्षभर होती है।
- यहाँ की वनस्पति बर्फीले क्षेत्र और शंकुधारी पेड़ों की होती है।
- उदाहरण: कश्मीर, हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड के ऊँचे क्षेत्र।
कोपेन के जलवायु वर्गीकरण का सारांश:
- Af (Tropical Rainforest Climate): दक्षिणी भारत और पश्चिमी घाट।
- Am (Tropical Monsoon Climate): भारत के अधिकांश हिस्से, विशेष रूप से गंगा-ब्रह्मपुत्र बेसिन।
- BSh, BSk (Tropical Dry Climate): राजस्थान, गुजरात, कच्छ, मध्य भारत।
- Cw (Subtropical Climate): उत्तर भारत के कुछ हिस्से जैसे हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड।
- Cf, Df (Temperate Climate): हिमालयी क्षेत्रों के कुछ भाग।
- H (Highland Climate): कश्मीर, उत्तराखंड, हिमाचल प्रदेश के ऊँचे क्षेत्रों में।
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