उड़ान
पाठ के आँगन में
(1) सूचना के अनुसार रिक्त स्थान पूर्ण कीजिए:
सही विकल्प चुनकर वाक्य पूर्ण कीजिए:
उत्तर:- (क) परों में शक्ति हो तो उपलब्ध नभ को नापना है।
(ख) सुलगते आप, बाहर से अगन नहीं माँगा करते।
(2) निम्नलिखित काव्य पंक्तियों का सरल भावार्थ लिखिए:
“अँधेरे के इलाके में …….. नमन माँगा नहीं करते।”
उत्तर:- भावार्थ:
कवि कहना चाहते हैं कि आत्मसम्मान और साहस से भरपूर व्यक्ति कभी किसी से भीख नहीं माँगता। अंधकार से घबराकर कोई रोशनी की याचना नहीं करता, बल्कि स्वयं संघर्ष करके उजाला लाता है। इसी प्रकार, जो सच्चे सम्मान के योग्य होते हैं, उन्हें बिना माँगे ही सम्मान मिल जाता है।
(3) कविता द्वारा दिया गया संदेश अपने शब्दों में लिखिए।
उत्तर:- कविता हमें आत्मनिर्भरता, स्वाभिमान, और आत्मविश्वास का संदेश देती है। कवि यह बताना चाहते हैं कि सफलता और सम्मान के लिए कभी किसी पर निर्भर नहीं रहना चाहिए, बल्कि अपने प्रयासों से उन्हें अर्जित करना चाहिए। केवल वही व्यक्ति ऊँचाइयों को छू सकता है, जो कठिन परिश्रम करता है और बिना किसी अपेक्षा के आगे बढ़ता है।
(4) कविता में प्रयुक्त विरामचिह्नों के नाम लिखकर उनका वाक्यों में प्रयोग कीजिए।
उत्तर:- कविता में निम्नलिखित विरामचिह्नों का प्रयोग किया गया है:
विरामचिह्न का नाम | वाक्य में प्रयोग |
---|---|
पूर्ण विराम (।) | जीवन में संघर्ष से घबराना नहीं चाहिए। |
अल्पविराम ( , ) | सत्य, प्रेम, और करुणा मानव जीवन के महत्वपूर्ण गुण हैं। |
प्रश्नवाचक चिह्न (?) | क्या तुमने अपना कार्य पूरा कर लिया? |
उद्धरण चिह्न (” “) | महात्मा गांधी ने कहा, “अहिंसा ही सबसे बड़ा धर्म है।” |
अल्पविराम ( ; ) | परिश्रम करो; सफलता अवश्य मिलेगी। |
संजाल
उत्तर:- स्वाभिमान (आत्मसम्मान)
हौसला (साहस)
दूरदृष्टि (आगे की सोच)
संघर्षशीलता (परिश्रम और आत्मनिर्भरता)
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