मेरा विद्रोह
लहान प्रश्न
1. मुख्य पात्र का अपने पिता से क्या विवाद था?
उत्तर – उसे लगता था कि उसके पिता उसकी इच्छाओं को महत्व नहीं देते और बहुत सख्ती करते हैं।
2. पिता ने उसे पिकनिक पर जाने से क्यों मना किया?
उत्तर – वे पढ़ाई को प्राथमिकता देते थे और अनावश्यक खर्च को गलत मानते थे।
3. रमन के जन्मदिन की पार्टी में जाने के लिए बालक ने क्या किया?
उत्तर – उसने जिद की, रोया-चिल्लाया और माँ ने पिता को मनाकर उसे भेज दिया।
4. बालक ने पढ़ाई में जानबूझकर ध्यान क्यों नहीं दिया?
उत्तर – उसने सोचा कि अगर वह असफल होगा, तो उसके पिता को शर्मिंदगी होगी।
5. बालक को आत्मबोध कब हुआ?
उत्तर – जब उसने अपने पिता को अकेले और निराश रोते हुए देखा, तब उसे अपनी गलती का एहसास हुआ।
6. माँ की क्या भूमिका थी इस कहानी में?
उत्तर – माँ बेटे और पिता के बीच संतुलन बनाए रखने की कोशिश करती थी।
7. पिता और बालक के विचारों में क्या अंतर था?
उत्तर – पिता अनुशासन और पढ़ाई को प्राथमिकता देते थे, जबकि बालक स्वतंत्रता चाहता था।
8. बालक अपने भाई-बहनों से क्यों चिढ़ता था?
उत्तर – उसे लगता था कि पिता उन्हें ज्यादा प्यार करते हैं और उसे अनदेखा करते हैं।
9. पिता की कठोरता का क्या कारण था?
उत्तर – वे अपने बेटे को सफल और आत्मनिर्भर बनाना चाहते थे, इसलिए सख्ती करते थे।
10. कहानी का मुख्य संदेश क्या है?
उत्तर – माता-पिता की सख्ती बच्चों के भविष्य के लिए होती है, जिसे समय पर समझना जरूरी है।
दीर्घ प्रश्न
1. बालक अपने पिता के प्रति विद्रोही क्यों बन गया?
उत्तर – बालक को लगता था कि उसके पिता उसकी इच्छाओं को नहीं समझते और हर बात पर रोक-टोक लगाते हैं। वह अपने दोस्तों की तरह खुलकर जीना चाहता था, लेकिन उसके पिता उसे अनुशासन में रखते थे। धीरे-धीरे यह असंतोष विद्रोह में बदल गया, और उसने पढ़ाई से भी मन हटा लिया।
2. रमन के जन्मदिन की पार्टी ने बालक के मन में क्या बदलाव लाया?
उत्तर – जब बालक रमन की जन्मदिन पार्टी में पहुँचा, तो उसने वहाँ की भव्यता देखी और अपने माता-पिता की सादगी से उसकी तुलना करने लगा। उसे लगा कि उसके माता-पिता उसकी खुशियों को नहीं समझते और उसे जानबूझकर छोटी-छोटी चीज़ों से वंचित रखते हैं। इससे उसका अपने पिता के प्रति गुस्सा और बढ़ गया।
3. पिता और पुत्र के बीच रिश्ते में बदलाव कब आया?
उत्तर – जब बालक ने अपने पिता को बेहद उदास और अकेले रोते हुए देखा, तो उसे पहली बार अपनी गलती का एहसास हुआ। उसने महसूस किया कि उसके पिता की कठोरता उनके प्रेम का ही एक रूप थी। यह देखकर उसका हृदय परिवर्तन हुआ, और उसने पिता से क्षमा माँगने और उनके साथ अच्छा संबंध बनाने का निश्चय किया।
4. पिता के प्रति बालक का व्यवहार शुरू में कैसा था?
उत्तर – बालक अपने पिता की सख्ती और अनुशासन से चिढ़ता था और उन्हें अपने जीवन की खुशियों का दुश्मन मानता था। वह हर चीज़ में अपने पिता का विरोध करता था और उनकी बातों को अनसुना कर देता था। धीरे-धीरे उसने पढ़ाई से भी ध्यान हटा लिया, ताकि वह अपने पिता को नीचा दिखा सके।
5. इस कहानी का मुख्य संदेश क्या है?
उत्तर – यह कहानी हमें यह सिखाती है कि माता-पिता की सख्ती केवल हमारे भविष्य के लिए होती है, न कि हमें दुखी करने के लिए। कई बार हमें उनकी कठोरता समझ में नहीं आती, लेकिन समय के साथ हमें एहसास होता है कि वे हमारे हित में ही ऐसा करते हैं। हमें अपने माता-पिता की भावनाओं को समझकर उनके प्रति आदर और प्रेम रखना चाहिए।
6. बालक के मन में आत्मबोध कैसे उत्पन्न हुआ?
उत्तर – जब बालक ने अपने पिता को रोते हुए देखा, तो उसे पहली बार एहसास हुआ कि उसने उन्हें कितना दुख पहुँचाया है। उसने सोचा कि उसके पिता ने उसके भविष्य के लिए कितनी मेहनत की थी, लेकिन वह उन्हें समझ नहीं सका। यह देखकर उसने अपने विद्रोही स्वभाव को छोड़ने और अपने पिता की भावनाओं को समझने का निश्चय किया।
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