सोनू हाथी
1. अध्याय का सारांश
यह कहानी मानवीय संवेदना, पशु-प्रेम और करुणा पर आधारित है। कहानी में लकड़हारा विश्वास जंगल में एक पेड़ को काटने जाता है, लेकिन पेड़ उससे विनती करता है कि उसे न काटा जाए। लकड़हारा पहले अनसुना करता है, लेकिन जब पेड़ अपने प्रति सहानुभूति की गुहार लगाता है, तो विश्वास उसे काटने से मना कर देता है।
पेड़ उसकी दयालुता देखकर उसे एक अनोखा उपहार देता है-एक बीमार और भूखा हाथी का बच्चा, जो अपने परिवार से बिछड़ गया है। पहले तो विश्वास उसे अपनाने में हिचकता है, लेकिन बाद में उसे अपने घर ले आता है और उसका नाम ‘सोनू’ रखता है।
घर पर विश्वास की पत्नी सुलमत्रा पहले इस निर्णय से असंतुष्ट होती है, लेकिन धीरे-धीरे सोनू से लगाव हो जाता है। हालांकि, आर्थिक तंगी के कारण वे परेशान रहते हैं। फिर विश्वास और उसका परिवार सोनू को एक मेले में ले जाने का फैसला करते हैं, ताकि वहां उसे अच्छा भोजन मिल सके।
कहानी हमें सिखाती है कि करुणा, दया और संवेदनशीलता मनुष्य के महान गुण हैं।
2. प्रमुख पात्र
- विश्वास – एक दयालु लकड़हारा, जो मजबूरी में पेड़ काटना चाहता है लेकिन अंततः उसकी करुणा जागृत हो जाती है।
- पेड़ – जो विश्वास को न सिर्फ समझाता है बल्कि उसे उपहार स्वरूप सोनू देता है।
- सोनू (हाथी का बच्चा) – एक मासूम और बीमार हाथी, जो अपने परिवार से बिछड़ गया है।
- सुलमत्रा – विश्वास की पत्नी, जो शुरू में नाराज होती है लेकिन बाद में सोनू से स्नेह करने लगती है।
- बच्चे – विश्वास के बच्चे, जो सोनू को देखकर खुश होते हैं और उससे खेलते हैं।
3. मुख्य विचार एवं शिक्षाएँ
- दयालुता और संवेदनशीलता – विश्वास का पेड़ और सोनू के प्रति सहानुभूति दिखाना।
- पशु-प्रेम और संरक्षण – सोनू के प्रति विश्वास और उसके परिवार का प्रेम।
- संकट में धैर्य रखना – आर्थिक तंगी के बावजूद विश्वास का संघर्ष और सकारात्मकता।
- परिवार और सामाजिक संबंध – सोनू को परिवार का हिस्सा बनाना और सभी का उससे जुड़ाव।
5. महत्वपूर्ण शब्दावली
शब्द | अर्थ |
---|---|
पार्श्व | पीछे |
ठौर-ठिकाना | रहने की सुरक्षित जगह |
सौदेबाजी | मोल-भाव करना |
कलेजा | हृदय |
अफसोस होना | दुखी होना |
6. महत्वपूर्ण कहावतें और मुहावरे
- अंधे को आँख और भूखे को खाना – ज़रूरतमंद को उसकी ज़रूरत की चीज़ मिलना।
- घर में नहीं दाने, अम्मा चली भुनाने – आर्थिक तंगी में भी अनावश्यक काम करने की कोशिश करना।
- फूटी कौड़ी न होना – एकदम गरीब होना।
निष्कर्ष
“सोनू हाथी” कहानी हमें बताती है कि दया, करुणा और पशु-प्रेम मनुष्य के सबसे बड़े गुण हैं। विश्वास की संवेदनशीलता और उसके परिवार का सोनू के प्रति प्रेम हमें प्रेरित करता है कि हमें भी अपने आसपास के जानवरों और जरूरतमंदों की मदद करनी चाहिए।
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